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पी.एस. उपाध्याय ने शशांक शर्मा को सौंपी जिला उपाध्यक्ष की जिम्मेदारी, स्वागत समारोह में उमड़ा समाज का उत्साह

अखिल भारतीय ब्राह्मण एकता परिषद में नई ऊर्जा!
पी.एस. उपाध्याय ने शशांक शर्मा को सौंपी जिला उपाध्यक्ष की जिम्मेदारी, स्वागत समारोह में उमड़ा समाज का उत्साह

मुरादाबाद | संवाददाता
अखिल भारतीय ब्राह्मण एकता परिषद, जनपद मुरादाबाद में संगठन को और सशक्त बनाने की दिशा में बड़ा कदम उठाया गया। जिलाध्यक्ष पी.एस. उपाध्याय (नीटू उपाध्याय) ने युवा और ऊर्जावान चेहरा शशांक शर्मा को जिला उपाध्यक्ष की महत्वपूर्ण जिम्मेदारी सौंपी।
इस अवसर पर शशांक शर्मा के निवास स्थान पर भव्य स्वागत समारोह आयोजित किया गया, जिसमें जिलेभर से ब्राह्मण समाज के गणमान्य लोग एवं पदाधिकारी शामिल हुए।

कार्यक्रम की प्रमुख झलकियाँ

  • जिलाध्यक्ष पी.एस. उपाध्याय ने शशांक शर्मा को अंगवस्त्र पहनाकर स्वागत किया।
  • पदभार ग्रहण के अवसर पर शुभकामनाओं का तांता लगा रहा।
  • उपस्थित अतिथियों ने संगठन की एकता और अनुशासन को “ब्राह्मण समाज की पहचान” बताया।
  • नव नियुक्त उपाध्यक्ष ने कहा — “संगठन की प्रतिष्ठा और सम्मान को सर्वोपरि रखते हुए ब्राह्मण समाज की सेवा मेरा संकल्प है।”

कार्यक्रम में उपस्थित प्रमुख पदाधिकारी

स्वागत कार्यक्रम में कई वरिष्ठ पदाधिकारी व मार्गदर्शक उपस्थित रहे —

  • हरीश दुबे (गुरुजी) – जिला संरक्षक
  • प्रोफेसर विनोद पांडे – जिला संयोजक
  • डाॅ. राजकुमार शर्मा – चिकित्सा प्रकोष्ठ जिला संयोजक
  • मुदित उपाध्याय – जिला महासचिव
  • एडवोकेट श्याम मोहन पंडित, धवल दीक्षित – मार्गदर्शक
  • प्रोफेसर संजय शर्मा, प्रदीप शर्मा, अमित शर्मा, रजत शर्मा, गोविंद शर्मा, मुकेश शुक्ला, शोभित अग्रवाल, सुरेश शर्मा, गौरव शर्मा आदि उपस्थित रहे।

संगठन में नए उत्साह की लहर

इस नियुक्ति को संगठन में नई ऊर्जा और नेतृत्व परिवर्तन का प्रतीक माना जा रहा है। स्थानीय कार्यकर्ताओं का कहना है कि शशांक शर्मा की सक्रियता और युवाओं में लोकप्रियता संगठन को नई दिशा देगी।

“यह जिम्मेदारी केवल पद नहीं, बल्कि समाज सेवा का अवसर है। हम सभी का लक्ष्य है कि ब्राह्मण समाज को एकजुट कर उसकी बौद्धिक और सांस्कृतिक शक्ति को सशक्त बनाया जाए।”
पी.एस. उपाध्याय (नीटू उपाध्याय), जिलाध्यक्ष

विश्लेषण: संगठनात्मक सुदृढ़ीकरण की दिशा

अखिल भारतीय ब्राह्मण एकता परिषद का यह निर्णय स्थानीय स्तर पर नेतृत्व सशक्तिकरण और संगठन विस्तार की दृष्टि से अहम है।
सामाजिक संगठनों में इस तरह की युवा नेतृत्व की नियुक्तियाँ एक सकारात्मक संकेत मानी जा रही हैं —

  • यह संगठनात्मक नवाचार और स्थानीय जुड़ाव दोनों को बढ़ाती हैं।
  • इससे सांस्कृतिक पहचान और समुदायिक एकता को नई दिशा मिलने की संभावना है।
  • आगामी सामाजिक अभियानों और जागरूकता कार्यक्रमों में युवा नेतृत्व की भूमिका और अधिक सशक्त होने की उम्मीद है।

समापन संदेश

कार्यक्रम का समापन वेद मंत्रोच्चारण और संगठन के नारे “ब्राह्मण एकता—राष्ट्र शक्ति” के जयघोष के साथ हुआ।
स्थानीय स्तर पर यह आयोजन न केवल सम्मान समारोह था, बल्कि समाज में एकता, जागरूकता और आत्मगौरव का संदेश देने वाला आयोजन बन गया।

✍️ संवाददाता
स्थान: मुरादाबाद
 तिथि: 06 अक्टूबर 2025

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